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मांड नदी के किनारे प्राकृतिक सौंदर्य से घिरा है किलकिला शिव मंदिर, आकर्षण का है केंद्र

जशपुर, छत्तीसगढ़// जिले के पत्थलग पत्थलगांव विकासखंड का किलकिला शिव मंदिर प्राकृतिक सौंदर्य से घिरा है। मांड नदी के किनारे स्थित किलकिला एक गांव है. जहां का शिव मंदिर बहुत प्रचलित है। सावन के पूरे महीने और शिवरात्रि में यहां दूर-दूर से श्रद्धालु दर्शन के लिए पहुंचते हैं। यहां बहुत बड़ा मेला भी लगता है। मंदिर परिसर में काली मंदिर, जगनाथ मंदिर, नौ ग्रह मंदिर सहित अन्य कई मंदिर हैं। जगनाथ स्वामी का मंदिर रथ के आकार का बनाया गया है। इस मंदिर में भगवान जगनाथ भाई बलभद्र और सुभद्रा के साथ स्थापित हैं। मंदिर के पीछे बहने वाली मांड नदी में सभी श्रद्धालु स्नान कर पूजा करने पहुंचते हैं। सावन के महीने में इसी नदी का जल लेकर लोग कैलाश गुफा बगीचा में भगवान भोलेनाथ का जलाभिषेक करते हैं। वहीं धर्मजयगढ़, पत्थलगांव, लैलूंगा, खरसियां, कांस्ागेल सहित अन्य जगहों से जल लेकर श्रद्धालु किलकिला शिव मॉटर जलाभिषेक के लिए पहुंचते हैं। यहां भक्तों की अपार श्रद्धा है। लोगों का मानना है कि किलकिला बाबा सबकी मनोकामना को पूर्ण करते है।

किलकिला मंदिर सरगुजा संभाग के सभी जिला मुख्यालयों से जुड़ा हुआ है। नेशनल हाइवे-43 में होकर यहां पहुंचा जा सकता है। जशपुर जिले में ट्रेन सप्ट नहीं होने के कारण यहां पहुंचने के लिए सिर्फ सड़क ही एक सुविधा है। पत्थलगांव विकासखंड से इसकी दूरी 10 किमी है। यहां में टैक्सी, बम हमेशा उपलब्ध रहते हैं। साथ ही सकने के लिए कई बड़े लॉज भी हैं।

Dhanendra Namdev

Editor, IND24tv.com

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